राष्ट्रपति ने मंगलवार को गया जिला को नेशनल वाटर अवार्ड से सम्मानित किया है। डीएम डॉ त्यागराजन एसएम को दिल्ली के विज्ञान भवन में सम्मानित किया गया। डीएम ने बताया कि गया जिला के सुदूरवर्ती नीमचक बथानी प्रखंड के तेलारी पंचायत, जो जिला मुख्यालय से लगभग 52 किलोमीटर दूर स्थित है। पहाड़ी व सूखा क्षेत्र होने के कारण इस पंचायत में जल संरचना की उपलब्धि एक कठिन प्रक्रिया से होकर गुजरी है। उन्होंने बताया कि पायलट प्रोजेक्ट के तहत लगभग 10 महीने के समय में इस परियोजना का निर्माण पूरा किया गया है।
इस परियोजना के अंतर्गत लगभग 95 एकड़ पहाड़ पर होने वाली वर्षा जल संचयन, भूगर्भ जल को समृद्ध करने व हरियाली को बढ़ाने में जो उपलब्धि हासिल की गई, वह पूरे देश में एक क्रांतिकारी उपलब्धि के रूप में चिन्हित किया गया। जो बिहार ही नहीं, पूरे देश के लिए एक मिसाल है।
इस कड़ी में ग्रामीण विकास विभाग, नई दिल्ली, भारत द्वारा भी इस परियोजना को विशेष पहचान मिली है। इस परियोजना में मुख्य रूप से जल निकासी सारणी, जल संरचना टैंक, रिचार्ज बोरवेल, रि-यूज़ वाटर टैंक, रूफटॉप वाटर हार्वेस्टिंग, तालाब की खुदाई, पौधारोपण, चेक डैम निर्माण सहित अन्य अव्यव शामिल है।
इस परियोजना की उपलब्धियों में मुख्य रूप से वाटर लेवल में लगभग 22 फ़ीट की वृद्धि हुई है जो काफी लाभदायक है। इस पंचायत के अंतर्गत सभी चापाकल एवं बोरिंग जो भीषण गर्मी में सक्रिय रूप से कार्य कर रहा है। हरियाली का विकास क्षेत्र में काफी प्रभावशाली रूप में हुआ है। समीपवर्ती क्षेत्रों में पूरे वर्ष भर खेती के लिए जल की उपलब्धता रह रही है। इस परियोजना के सफल क्रियान्वयन से यह सुनिश्चित किया गया है कि ऐसी परियोजना किसी भी पहाड़ी व् सूखा क्षेत्र में धरातल पर उतारा जा सकता है और विषमताओं को खत्म या कम किया जा सकता है।
डीएम ने बताया कि मुख्यमंत्री, बिहार के नेतृत्व में संचालित जल जीवन हरियाली अभियान काफी लाभदायक सिद्ध हो रहा है। जल जीवन हरियाली योजना आने से गया जिला में सुखाड़ एवं पानी की समस्या को काफी हद तक दूर किया गया है।
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